प्रहरी संवाददाता/बगोदर (गिरिडीह)। झारखंड के प्रवासी मजदूरों के मौत का सिलसिला थमता नजर नहीं आ रहा है। आयेदिन झारखंड के मजदूर दूसरे राज्यों में पलायन की भेंट चढ़ने को मजबूर है।
जानकारी के अनुसार हजारीबाग जिला के हद में विष्णुगढ थाना क्षेत्र के गाल्होबार टोला टण्डवा के मजदूर की मुम्बई में 13 नवंबर की सुबह मौत हो गयी। मिली जानकारी के अनुसार गाल्होबार के टण्डवा निवासी स्वर्गीय बिगन मियां के पुत्र असदुद्दीन अंसारी की नासिक में अचानक तबीयत बिगड़ने से मौत हो गयी। असदुद्दीन की मौत की सूचना मिलते ही परिजनो का रो-रो कर बुरा हाल है।वहीं गांव में भी मातम पसरा है।
बताया जाता है कि मृतक असदुद्दीन अंसारी बिल्डिंग लाइन में सेटरिंग का काम करता था। इस घटना को लेकर प्रवासी मजदूरों के हित में कार्य करने वाले समाजसेवी सिकन्दर अली ने संवेदना प्रकट करते हुए कहा कि झारखंड के नौजवानों की मौत के मुंह में समा जाने की यह पहली घटना नहीं है।
इससे पहले भी कई मजदूरों की मौत हो चुकी है। अली के अनुसार रोजी-रोटी की तलाश में परदेस गये प्रवासी झारखंडी मजदूरों की मौत का सिलसिला जारी है। हर रोज झारखंड के किसी न किसी इलाके से प्रवासी मजदूर की दूसरे राज्यों या विदेश में मौत की खबरें आ रही है।
कहा कि प्रवासी मजदूरों की सबसे ज्यादा तादाद झारखंड के गिरिडीह, हजारीबाग और बोकारो जिले से रोजी-रोटी कमाने गये रहिवासियों की है। उन्होंने कहा कि अपना घर छोड़कर परदेस गये इन मजदूरों की जिंदगी तो कष्ट में बीतती ही है, मौत के बाद भी उनकी रूह को चैन नसीब नहीं होता है।
किसी का शव हफ्ते भर बाद आती है, तो किसी को 3 महीने भी लग जाते हैं। ऐसे में सरकार को फिलहाल शव लाने की व्यवस्था करने के साथ-साथ रोज़गार की ऐसी व्यवस्था करनी चाहिए, ताकि मजदूरो के पलायन को कारगर ढंग से रोका जा सके।
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