सऊदी अरब में फंसे मजदूरों ने वतन वापसी के लिए फिर लगाई सरकार से गुहार

प्रहरी संवाददाता/बगोदर (गिरिडीह)। झारखंड के कई जिले के प्रवासी मजदुर रोजगार की तलाश में आए दिन देश विदेश पलायन करते रहे हैं। वे अपने वतन को छोड़कर हजारों किलोमीटर दूर कमाने के लिए जाते हैं, ताकि परिवार का भरण-पोषण अच्छे से कर सके।

आये दिन खबर मिलती रहती है कि कंपनी वाले गरीब मजदूरों को बुलाकर शोषण करते हैं। इसी कड़ी में सऊदी अरब में झारखंड के गिरिडीह, बोकारो और हजारीबाग जिले के 45 मजदूर महीनों से फंसे हुए हैं। सप्ताह दिन बीत जाने के बाद भी इनकी वतन वापसी की गुहार का कोई असर न होते देख मजदुरों ने एकबार फिर सोशल मीडिया का सहारा लेकर सरकार से वतन वापसी में सहयोग की मांग की है।

जानकारी के अनुसार सऊदी अरब में परेशान मजदूरों ने विडियो बनाकर राज्य एवं केंद्र सरकार से वतन वापसी की गुहार लगाई है।
इस संबंध में प्रवासी मजदूरों के हितों में काम करनेवाले समाजसेवी सिकंदर अली ने बताया कि बीते 11 मई को मोबाइल टाॅवर का काम करनेवाली कमर्शियल टेक्नोलॉजी पल्स नामक कंपनी में काम करने के लिए झारखंड के गिरिडीह, बोकारो तथा हजारीबाग जिले के 45 मजदूर सऊदी अरब गये थे।

अली के अनुसार फंसे मजदूरों ने विडिओ जारी कर कहा है कि हम सभी 55 हजार रुपये कमीशन देकर आए है।भारत से सऊदी अरब ले जाते समय हमारे साथ एग्रीमेंट किया गया था कि लाइनमैन को 1500 रियाल, ओवरटाइम का 700 रियाल मिलेंगे। सभी सात महीने से काम कर रहे हैं, जिसमें से उन्हें सिर्फ दो महीने का वेतन दिया गया है। शेष बकाया नहीं दिया जा रहा है।

अगर हम उनसे बकाये मजदुरी की मांग करते हैं तो हमसे जबरदस्ती काम कराया जाता है और जेल में डालने की धमकी दी जाती है। जिसके कारण सभी मजदूर दाने-दाने को मोहताज हो गये है। अली ने बताया कि इधर मजदूरों के परिजन परेशान हैं।

प्रवासी मजदूरों के हित में काम करने वाले समाजसेवी मजदूरों की आवाज उठाने वाले सिकन्दर अली का कहना है कि सरकार कंपनी पर दबाव बनाकर मजदूरों को बकाया मजदूरी और वतन वापसी का टिकट दिलाए। मजदूर के परिजन यहां बिलख रहे हैं।

उन्होंने कहा कि यह कोई पहली घटना नहीं है, जब काम की तलाश में मजदूर विदेश जाते हैं। उन्हें वहां कई तरह की यातनाएं झेलनी पड़ती है। बड़ी मुश्किल से वे वतन लौट पाते हैं। इसके बावजूद प्रवासी मजदूर पुरानी घटनाओं से सबक नही ले रहे है। ऐसे में सरकार को इस पर ठोस कदम उठाने की जरूरत है।

अली के अनुसार बीते माह मांडू विधायक जयप्रकाश भाई पटेल ने भी इस मामले को लेकर गंभीरता दिखाई थी। इस मामले में विधायक पटेल द्वारा देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को सऊदी अरब में फंसे मजदूरों की सूचि भेजकर हस्तक्षेप की मांग कर चुके है, बावजूद इसके अबतक इस मामले में कार्रवाई नहीं किया जा सका है। ऐसे उन मजदूरों के परिजन हैरान परेशान है।

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