पुरानी पेंशन नीति को स्वीकार करने के बाद सरकार का यू टर्न !

सरकार के खिलाफ 9 अगस्त को मुंबई में होगी बाइक रैली- सुभाष मोरे

सत्तार खान/मुंबई। पुरानी पेंशन की मांग को लेकर राज्य के सरकारी अर्ध सरकारी कर्मचारी, शिक्षक और गैर शिक्षक कर्मचारी सात दिनों तक अनिश्चितकालीन हड़ताल पर हैं। हड़ताल के मद्देनजर सरकार ने राष्ट्रीय पेंशन प्रणाली और पुरानी पेंशन योजना का तुलनात्मक अध्ययन करने के लिए तीन सदस्यीय समिति नियुक्त किया था। 1 नवंबर 2005 और उसके बाद नियुक्त कर्मचारियों की सेवानिवृत्ति के बाद सुनिश्चित आर्थिक और सामाजिक सुरक्षा के लिए उपचारात्मक योजना के संबंध में सरकार को सिफारिश/रिपोर्ट प्रस्तुत करना था।

इसके लिए नियुक्त समिति को तीन महीने के भीतर एक रिपोर्ट देना था। लेकिन आज 27 जुलाई 2023 को सरकार ने समय सीमा 14 अगस्त तक बढ़ा कर कर्मचारियों के साथ धोखा किया है। शिक्षा भारती के कार्यकारी अध्यक्ष और संचालन समिति के सदस्य सुभाष किसान मोरे ने जानकारी दी है। उनहोंने कहा है कि मैं सरकार के खिलाफ अपना विरोध व्यक्त करने के लिए 9 अगस्त को मुंबई में बाइक रैली निकालेंगे ।

राज्य के कर्मचारियों को पुरानी पेंशन योजना लागू करने के लिए अन्य राज्यों में पुरानी पेंशन योजना लागू करने के संबंध में घोषित निर्णयों का अध्ययन कर तीन माह के भीतर रिपोर्ट सौंपने की अपेक्षा की गई थी। मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे द्वारा पुरानी पेंशन नीति को सिद्धांत रूप में स्वीकार करने के बाद राज्य सरकार (State Government) कर्मचारी संघ समन्वय समिति ने हड़ताल वापस ली थी।

उक्त समिति का कार्यकाल 14 जून 2023 को समाप्त हो चूका है। राज्य के सभी कर्मचारियों को उम्मीद थी कि शिंदे सरकार चालू मानसून सत्र में कमेटी की रिपोर्ट सौंपकर पुरानी पेंशन योजना लागू करने पर फैसला लेगी। लेकिन कमेटी के विस्तार से प्रदेश के लाखों कर्मचारियों में असंतोष फैल गया है। सुभाष मोरे ने चेतावनी दी है कि यदि पेंशन लागू करने के संबंध में शीघ्र निर्णय नहीं लिया गया तो राज्यव्यापी आंदोलन किया जायेगा।

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