मुजफ्फरपुर जिलाधिकारी ने किया कोषागार का निरीक्षण

रुके हुए कार्य को खत्म करने का निर्देश दिया

संतोष कुमार झा/ मुजफ्फरपुर (बिहार)। मुजफ्फरपुर (Muzaffarpur) के जिलाधिकारी डॉ चंद्रशेखर सिंह ने 17 जुलाई को जिला कोषागार कार्यालय का निरीक्षण किया। निरीक्षण के दौरान उनके साथ सहायक समाहर्ता खुशबू गुप्ता, कोषागार पदाधिकारी और सहायक कोषागार पदाधिकारी आदि मौजूद थे। ज्ञात हो कि वर्ष में कम से कम एक बार कोषागार का निरीक्षण जिला अधिकारी के द्वारा किया जाना अनिवार्य है। इससे पहले भी वर्ष 2016 में तात्कालीन जिलाधिकारी धर्मेंद्र सिंह के द्वारा कोषागार का निरीक्षण किया गया था।

उसके बाद इस बार यानि 2020 में यह निरीक्षण जिलाधिकारी द्वारा किया गया है। इस निरीक्षण के दौरान जिन भी कर्मियों के स्थानांतरण पदस्थापन के कारण जून महीने की पेंशन मिलने में देरी हुई थी उनका भुगतान 16 जुलाई को कर दिया गया है। जहां जिलाधिकारी ने साफ तौर पर यह निर्देश जारी किया है कि हर माह के अंतिम कार्य दिवस और अगले माह के प्रथम कार्य दिवस तक नियमित रूप से पेंशन का भुगतान करना सुनिश्चित किया गया है।

पेंशन की समीक्षा के क्रम में एक नई बात सामने आई है कि महालेखाकार, बिहार से स्वीकृत होने के बाद भी 96 पेंशन के मामले अभी भी लंबित पाए गए हैं। उनमें से 17 तो ऐसे मामले मिले हैं जो पिछले तीन साल से पेंडिंग पड़े हैं। बाकी के बचे 10 मामले ऐसे हैं जिनकी पिछले एक वर्ष में कोई पूछ नहीं हुई है। इस बारे में जिलाधिकारी द्वारा नाराजगी व्यक्त करते हुए निर्देश दिया गया कि पेंशन से जुड़े जो भी लंबित मामले हैं उन पर शीघ्र कार्रवाई करें और सीनियर सिटीजन को ज्यादा भागीदारी ना करा कर, उनका पेंशन सुनिश्चित करें।

वही कर्मियों की उपस्थिति सही समय पर हो इसके लिए बायोमेट्रिक डिवाइस लगाने की बात कही गई है। जिसमें व्यक्ति के चेहरे के पहचान के आधार पर उसकी उपस्थिति दर्ज की जाएगी। यह थोड़ा अलग तरह का होगा। इसमें अंगूठा लगाने की जरूरत नहीं होगी, क्योंकि इस वक्त संक्रमण की रफ्तार में किसी भी चीज को टचलेस किया जा रहा है।

वही कोषागार में सुरक्षा को और तेजी से बढ़ाने के लिए सीसीटीवी कैमरे लगाने का निर्देश दिया गया है। कोषागार में जो एक सहायक पदाधिकारी और एक डाटा एंट्री ऑपरेटर का पद रिक्त खाली है इस बारे में भी निर्देश जारी किया गया है, कि विभाग से समन्वय स्थापित कर इस समस्या का समाधान किया जाए।

वर्ष 2013 में निर्मित कोषागार भवन का आजतक कभी रंगाई पुताई नहीं गया है इस बारे में कोषागार पदाधिकारी और भवन प्रमंडल के कार्यपालक अभियंता को निर्देश दिया गया की नए भवन के प्रथम तल पर ब्रज गृह को स्थानांतरित करने के लिए सभी आवश्यक तैयारी करना होगा। इसमें किसी तरह की लापरवाही या पक्षपात नजर आई तो कड़ी कार्रवाई की जाएगी।

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