एस.पी.सक्सेना/बोकारो। प्रबंधन (Management) की दोहरी नीति से क्षुब्ध युनियन नेता के कड़े तेवर और जगत प्रहरी में छपे खबर के बाद आखिरकार प्रबंधन ने मामले की सुधि ली।
इसे लेकर भारतीय मजदूर संघ से संबद्ध सीसीएल (CCL) कोलियरी कर्मचारी संघ यूनियन की बैठक 23 जनवरी को बोकारो जिला (Bokaro district) के हद में सीसीएल कथारा क्षेत्र के जारंगडीह परियोजना में आयोजित किया गया। अध्यक्षता परियोजना पदाधिकारी नवल किशोर दुबे ने की। बैठक में युनियन के तीन सूत्री मांगो पर मुख्य रूप से चर्चा किया गया।
पीओ कार्यालय कक्ष (PO Office Room) में आयोजित बैठक में सर्वप्रथम युनियन पदाधिकारियों द्वारा वर्तमान परियोजना पदाधिकारी के परियोजना में आगमन पर उन्हें बुके देकर सम्मानित किया गया।
बैठक में आपस में मिलजुल कर उत्पादन उत्पादकता पर विशेष ध्यान देने की बात कही गई। इस अवसर पर सीसीएल सीकेएस कथारा क्षेत्रीय सचिव राज कुमार मंडल ने कहा कि संगठन का उद्देश्य प्रबंधन के साथ मिलकर मजदूर समस्या का समाधान करना तथा उत्पादन मे उतरोत्तर वृद्धि का प्रयास करना है।
जारंगडीह शाखा सचिव अमरनाथ साहा ने प्रबंधन के सामने अपने 3 सूत्री मांग पत्र रखा। जिसमें अस्पताल में एक फिजिशियन डॉक्टर की पदस्थापन करने के अलावा कहा गया कि यहां हड्डी रोग विशेषज्ञ को दिया गया है, जो क्षेत्रीय अस्पताल के लायक है।
उन्होंने कहा कि वर्तमान में जारंगडीह अस्पताल (Jarangdih Hospital) में जो डॉक्टर है वह समय का पालन नहीं करते। आगे उन्होंने कहा कि कथारा क्षेत्र अंतर्गत जारंगडीह परियोजना में कार्यरत सबसे अधिक 700 मजदूर कार्यरत है। उत्तरी और दक्षिणी पंचायत मिलाकर यहां वोटरों की संख्या लगभग 10 हजार के करीब है।
यहां स्थि अस्पताल एक तरह से बीमार पड़ा हुआ है। लोगों को इलाज के लिए बाहर जाना पड़ता है। परियोजना पदाधिकारी ने कहा कि एरिया मेडिकल ऑफिसर डॉक्टर मेघनाथ राम से बात कर समस्या का निराकरण बहुत जल्द कर दिया जाएगा।
शाखा सचिव ने कहा कि बिजली की आंख मिचौली होने से स्थानीय रहिवासियों को काफी दिक्कतें आ रही है, जबकि वर्षों से जमे फोरमैन और बिजली विभाग के अधिकारी के विषय में सवाल उठाए गये। इस संबंध में परियोजना पदाधिकारी ने कहा कि मामले को गंभीरता से लिया जाएगा।
बैठक (Meeting) में परियोजना पदाधिकारी ने कहा कि परियोजना में नया प्रोजेक्ट आने वाला है। यहां कोयला का उत्पादन आरआरशॉप और धोरी माता चर्च को हटाने से बढ़ेगा। इसी माह मशीन आना शुरू हो जाएगा, जिसमें 16 नया डंपर, चार शॉवेल, डोजर, विल ग्रेडर जैसी मशीनें आने से यहां का उत्पादन बढ़ेगा।
उन्होंने कहा कि प्रत्येक वर्ष 15 लाख टन कोयले का उत्पादन तथा ओबी 20 लाख क्यूबिक मीटर उठेगी। वहीं टाटा ब्लॉक के शिफ्टिंग के सवाल पर यूनियन पदाधिकारियों ने कहा कि टाटा ब्लॉक में 8 से 9 सीसीएल कर्मी है। जबकि 100 लोग अन्य बसे हुए हैं। प्रबंधन पहले कर्मियों को क्वार्टर दे।
प्राइवेट व्यक्तियों के लिए जो बरसों से वहां रह रहे हैं उन्हें जमीन और मुआवजा दें, ताकि वे जल्द से जल्द आवासों को खाली करे। जिससे उत्पादन हो।
धोरी माता चर्च के सवाल पर युनियन का कहना था कि सीसीएल मुख्यालय के द्वारा ₹5 करोड़ सैंक्शन कर दिया गया है, फिर भी लगभग 3 वर्षों से हम लोग सुनते आ रहे हैं कि बस इसी वर्ष चर्च की शिफ्टिंग कर कोयले का उत्पादन बढ़ाया जाएगा। अंत में धन्यवाद ज्ञापन परियोजना के कार्मिक प्रबंधन सुभाष चंद्र पासवान ने किया।
बैठक के पश्चात शाखा सचिव (Secretary) अमरनाथ साहा द्वारा आगामी 27 जनवरी को होनेवाले धरना प्रदर्शन कार्यक्रम को स्थगित करने की घोषणा की गयी। वहीं उन्होंने कहा कि यदि प्रबंधन इसी तरह से तालमटोल की नीति अपनाती रही तो बाद में आंदोलन किया जाएगा, जिसका जिम्मेवार प्रबंधन होगा।
मौके पर वेलफेयर बोर्ड सदस्य एवं सीसीएल सीकेएस उपाध्यक्ष आर इग्नेश, क्षेत्रीय सचिव राज कुमार मंडल, आरपी यादव, वासुदेव मंडल, अमरनाथ साहा, देव नारायण यादव, सुदामा कुमार, गौतम राम, राम देव पंडित, प्रकाश दुसाध आदि मौजूद थे।
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