डीएवी ढोरी में चीता की वापसी विषय पर संगोष्ठी का आयोजन

एस. पी. सक्सेना/बोकारो। बोकारो जिला के हद में डीएवी पब्लिक स्कूल (DAV Public School) में 16 सितंबर को चीता की वापसी विषय पर एक संगोष्ठी का आयोजन किया गया।

इस अवसर पर उक्त विद्यालय के वरीय संभाग में भारत सरकार (Indian Government) की चीता की वापसी मुहीम पर संगोष्ठी आयोजित किया गया। संगोष्ठी का मुख्य उद्देश्य वन्य जीवों की सुरक्षा एवं संरक्षा पर राष्ट्रीय चिंतन की एक कड़ी के रूप में जन जागृति लाना था।

संगोष्ठी में डीएवी ढोरी के प्राचार्य सत्येंद्र कुमार के नेतृत्व में विद्यालय के शिक्षकों-शिक्षिकाओं एवं छात्रों ने चीता के विलुप्त होने के कारणों, पर्यावरण संतुलन में चीता का महत्व तथा देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के पशु प्रेम अशोक स्तंभ में वन्य जीवों के माध्यम से दिए गये संदेश पर व्याख्यान प्रस्तुत किया गया।

वीडिओ कंन्फ्रेंसिंग हॉल में अलग पीपीटी की प्रस्तुति कीर्ति, डॉ शुभेदु कुमार, आशुतोष मिश्रा, कमलेश पांडेय, डी दत्ता एवं डॉ एस बी नारायणन ने की। इसके माध्यम से बच्चों को चीता की ऐतिहासिक जानकारी देना था। साथ हीं उनमे जागरूकता भी लाना था। इस अवसर पर वन्य जीवों पर आधारित पेंटिंग प्रतियोगिता, श्लोगन लेख तथा रोल प्ले का आयोजन किया गया।

इस अवसर पर विद्यालय के प्राचार्य एस कुमार ने वन एवं पर्यावरण विभाग भारत सरकार तथा जलवायु मंत्रालय द्वारा प्राप्त निर्देश के अनुसार प्रधानमंत्री की वन्य जीवों के प्रति सकारात्मक सोंच तथा चीर लंबित महत्वाकांक्षा को पुरा करने का सही वक्त कहा।

उन्होंने कहा कि कुंजो के वातायन में छिपकर उत्सुक आँखे रही निहार, यह संदेश जन जन तक हम सबों को पहुंचाना है। प्राचार्य ने कहा कि मध्यप्रदेश के राष्ट्रीय उद्यान में दक्षिण अफ्रीकी देश नामिबिया से आठ चीता जयपुर के रास्ते 17 सितंबर को आ रहा है।

अपनी पिछली गलतियों से सबक लेते हुए इसकी सुरक्षा एवं संरक्षा हेतू हम सबों को उद्द्त रहना होगा। इससे जहां वन एवं पर्यावरण का संतुलन होगा वहीं जलवायु परिवर्तन के विभत्स रूप से बचा जा सकेगा।

 252 total views,  1 views today

You May Also Like

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *