प्रहरी संवाददाता/मुजफ्फरपुर(बिहार)। बिहार के पूर्णिया में बीते 4 अक्टूबर (October) को हुई बहुचर्चित दलित नेता शक्ति मलिक हत्याकांड को लेकर एसपी विशाल शर्मा ने 7 अक्टूबर को बड़ा खुलासा किया है। एसपी ने कहा कि इस हत्याकांड में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव समेत सभी नामजद छह राजद नेताओं का कोई हाथ नहीं है। उन्होंने कहा कि इस मामले में शामिल मुख्य अभियुक्त आफताब समेत सात अपराधियों को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। एसपी ने उस सीसीटीवी फुटेज को भी दिखाया जिसमें हत्या के बाद अपराधी भाग रहे थे। जबकि गिरफ्तार अभियुक्तों के पास से पुलिस ने चार देशी कट्टा, एक पिस्तौल और चाकू भी बरामद किया है।
एसपी के अनुसार शक्ति मल्लिक के ऑफिस से नोट गिनने वाली मशीन, कई स्टांप पेपर, डायरी और अवैध तरीके से लोगों को सूद पर रुपये देने के कई कागजात बरामद हुए हैं। एसपी शर्मा ने कहा कि शक्ति मलिक काफी दबंग और क्रूर आदमी था। वह लोगों को सूद पर रुपये देता था। खासकर वह महिलाओं को रुपये देता था और बदले में उनसे छेड़खानी करने के साथ-साथ ब्लैकमेल करता था। यही नहीं, वह सूद पर रुपये देने के बाद लोगों को प्रताड़ित करता था और अपने अवैध धंधे से लेकर राजनीति में उन लोगों का दुरुपयोग करता था। हत्या से एक दिन पहले भी उसने आफताब समेत कुछ लोगों को रुपये नहीं देने पर दिनभर बैठाकर रखा और गाली गलौज की थी। इसी आक्रोश में सातों अपराधियों ने प्लान बनाकर शक्ति मलिक की हत्या कर दी।
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