बेटे ने मानी भूल, मां की देख भाल का प्रशासन को दिया भरोसा
एस. पी. सक्सेना/बोकारो। बोकारो जिला के हद में कसमार प्रखंड के जामकुदर रहिवासी 95 वर्षीय वृद्ध महिला गंगामनी देव्या का भरा पूरा परिवार होने के बाद भी असहाय बेड पर पड़ी रहने का मामला प्रकाश में आने पर जिला उपायुक्त ने मामले में त्वरित संज्ञान लिया गया। उपायुक्त ने बेरमो के अनुमंडल पदाधिकारी (एसडीओ) एवं जिला समाज कल्याण पदाधिकारी को परिजनों से संपर्क कर सकारात्मक कार्रवाई करने का निर्देश दिया था।
जानकारी के अनुसार उपायुक्त के पहल पर 5 जनवरी को 95 वर्षीय गंगामनी के पुत्र वकील डे ने सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (सीएचसी) कसमार पहुंचकर अपनी माँ को अपने साथ घर ले गया। उन्होंने मामले में अपने भूल को स्वीकार करते हुए प्रशासन को माँ का देखभाल – ख्याल रखने का भरोसा दिया।
ज्ञात हो कि, वृद्धा गंगामनी देव्या के दो पुत्र समेत परिवार में 8 सदस्य हैं, लेकिन वे उनकी देखभाल नहीं करते। लगभग 40 साल पहले पति का निधन हो चुका है। दोनों बेटे बाहर रहते हैं। बड़ा पुत्र सुभाष डे देखने भी नहीं आता है, वह अपने ससुराल बेरमो में रहता है। छोटा पुत्र वकील डे निरसा में चाय की दुकान चलाता है। वह कभी कभार आता है, लेकिन अब उठने- बैठने में लाचार मां, बिस्तर पर ही पड़ी रहती है। बताया जाता है कि बीते 4 जनवरी को वृद्ध महिला की मदद के लिए ग्रामीण रहिवासी स्थानीय प्रशासन के पास पहुंचे थे।
मामला प्रकाश में आने पर जिला प्रशासन ने मामले में पहल की। उधर, जिला उपायुक्त ने आमजनों से अपील की है कि वह अपने वृद्ध अभिभावकों का ख्याल रखें। यह उनकी नैतिक जिम्मेदारी है। अगर परिवार के सदस्य अपने वृद्ध माता-पिता/अभिभावकों का ख्याल नहीं रखेंगे, तो सिनियर सीटिजन एक्ट के तहत मामला दर्ज कर कार्रवाई की जाएगी।
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