प्रहरी संवाददाता/ मुंबई। रेल प्रशासन, स्थानीय नगरसेवक, विधायक और संसद के सौतेले रवैया के कारण कुर्ला (Kurla) के रेलवे कॉलोनी, साबले नगर और क्रांति नगर के लोग नारकीय जीवन जीने को मजबूर हैं। मानसून के दौरान उक्त सभी नगर जलमग्न हो जाता है। दशकों से यहां की जनता शासन और प्रशासन से गुहार लगाती आ रही है, लेकिन इनकी सुनने वाला कोई नहीं है।
बताया जाता है कि मानसून के आगमन से पूर्व कुर्ला के रेलवे कॉलोनी, साबले नगर (Sable Nagar) और क्रांति नगर के रहवासियों में खौफ का माहौल बन जाता है। क्योंकि हल्की बारिश हो या मूसलाधार बरसात यहां की सड़कें व इलाका पूरी तरह जलमग्न हो जाता है।
जल जमाव के मुद्दे पर मनपा (BMC), विधानसभा और लोकसभा के चुनाव प्रचार में आने वाला हर नेता, लोगों को लॉलीपॉप देते हैं। लेकिन जीतने के बाद दिखाई नहीं देते। जिसके कारण पिछले कई सालों से लोगों को दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है।
इसके बाद भी किसी का ध्यान इस ओर नहीं है। जबकि बड़ी संख्या में यहां रेलवे के कर्मचारी और उनका परिवार नारकीय जीवन जीने को मजबूर है। जबकि यहां शिवसेना के नगरसेवक, विधायक हैं। यह इलाका सांसद पूनम महाजन के क्षेत्र में पड़ता है।
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