नक्सली दस्ते से मोर्चा लेने वाली आदिवासी महिला सम्मानित

एस.पी.सक्सेना/ रांची (झारखंड)। गुमला (Gumla) जिले में पीएलएफआई नक्सलियों के दस्ते से अकेले लड़कर एरिया कमांडर बसंत गोप को मारने वाली बहादुर युवती बिनीता उरांव को एसपी एचपी जनार्दनन ने सम्मानित किया। 8 मई को एसपी जनार्दनन गांव पहुंचकर बिनीता से पूरी घटना की जानकारी ली। बाद में बहादुर बिनीता को 21 हजार रुपये बतौर इनाम दिया। साथ ही एसपी ने उसे राशन का पैकेट भी दिया। एसपी ने बिनीता को उसके परिवार की सुरक्षा का भरोसा दिलाया।

मौके पर एसपी जनार्दनश ने कहा की इस तरह की हिम्मत का परिचय देने से अपराधियों का मनोबल टूटता है। लेकिन लोगों को को कानून को हाथ में नहीं लेने की बात कही। तथा पुलिस को सूचित करने की ताकीद दी। उन्होंने कहा की इस तरह के लोगों को सबक सिखाने के लिए पुलिस सक्षम है। एसपी ने कहा की बिनीता ने खुद और परिवार की सुरक्षा के लिये ऐसा कदम उठाया। उसके स्थान पर कोई भी रहता तो यही करता। पुलिस पूरे मामले की छानबीन कर रही है। बिनीता को हर संभव सहायता और सुरक्षा दी जाएगी।

ज्ञात हो की गुमला जिले के सदर थानाक्षेत्र के वृन्दा महुआ टोली में पीएलएफआई एरिया कमांडर बसंत गोप अपने साथियों के साथ बीते 5 मई की रात बिनीता के घर धाबा बोला था। गोप परिवारवालों पर हमला करता, उससे पहले बिनीता ने हिम्मत दिखाते हुए टांगी से उसपर हमला कर दिया। हमले में बसंत गोप गंभीर रूप से घायल हो गया था। घायल एरिया कमांडर को लेकर उसके साथी जंगल में भाग गये। दूसरे दिन सुबह जंगल से उसकी लाश पुलिस ने बरामद किया।

बड़ी बात यह की हमले के समय सभी नक्सली हथियारों से लैस थे, लेकिन बिनीता ने इसकी चिंता छोड़ टांगी से उनसे अकेले मोर्चा ले ली थी।बिनीता के अनुसार बसंत गोप के कारण उसका पूरा परिवार वर्ष 2018 में गांव छोड़कर चला गया था। बसंत गोप लेवी के लिए उसके परिवार को तंग करता था। परेशान होकर पूरा परिवार गांव छोड़कर रांची (Ranchi) चला गया था। लॉकडाउन के कारण कुछ दिन पहले उसका परिवार रांची से गांव लौटा। जानकारी पाकर बसंत गोप अपने साथियों के साथ 5 मई की रात को उसके परिवारवालों की हत्या करने घर आ धमका। परिणामस्वरूप बिनीता के टांगी की प्रहार ने उसका अंत कर दिया।

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