साभार/ नई दिल्ली। केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) की एक अदालत ने मंगलवार को अंडरवर्ल्ड डॉन राजेंद्र सदाशिव निखलजे उर्फ छोटा राजन को फर्जी पासपोर्ट मामले में 7 साल की सजा सुनाई है। लगभग 85 मुकदमों का सामना कर रहे छोटा राजन को फिलहाल एक मामले में ही दोषी ठहराया गया है।
सीबीआई की विशेष अदालत के जज वीरेंद्र कुमार गोयल ने फर्जी पासपोर्ट मामले में छोटा राजन के अलावा पूर्व पासपोर्ट अधिकारियों जयश्री दत्तात्रेय राहटे, दीपक नटवरलाल शाह तथा ललिता लक्ष्मणन को भी दोषी ठहराया है। साथ ही चारों दोषियों पर 15,000 रुपये का जुर्माना भी लगाया गया है।
जस्टिस गोयल ने सोमवार को कहा था कि छोटा राजन को आईपीसी के तहत सुरक्षा के दृष्टिकोण से मूल्यवान वस्तु की फर्जी प्रतिलिपि तैयार करने का दोषी ठहराया गया है और इसके लिए अधिकतम उम्रकैद की सजा सुनायी जा सकती है।
अदालत ने 3 सरकारी अधिकारियों की मदद से मोहन कुमार के नाम पर कथित रूप से फर्जी पासपोर्ट लेने के मामले में राजन के खिलाफ आदेश 28 मार्च को सुरक्षित रख लिया था। लक्ष्मणन ने हाई कोर्ट से अनुरोध किया था कि उनके मामले की सुनवाई बेंगलुरु में करवाई जाए, लेकिन अदालत ने 9 जनवरी को याचिका खारिज करते हुए कहा कि निचली अदालत मामले की सुनवाई नहीं कर सकता है। गौरतलब है कि 55 वर्षीय गैंगस्टर राजन को अक्टूबर, 2015 में इंडोनेशिया के बाली से प्रत्यर्पण के रास्ते भारत लाया गया था।
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