संतोष कुमार/वैशाली (बिहार)। राज्य (State) में निजी स्कूलों की कोरोना काल में उभरकर सामने आई मुश्किलों की चर्चा लगता है जोर पकड़ने वाली है। निजी विद्यालयों की परेशानी और अभिभावकों पर अतिरिक्त बोझ को देखते हुए राजापाकर की विधायक ने सीएम को पत्र भेजकर निजी विद्यालयों को अनुदान देने की मांग की है।
वैशाली जिला (Vaishali district) के हद में राजापाकड़ विधानसभा क्षेत्र के विधायक डॉक्टर प्रतिमा दास बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश को दिए पत्र से तो यही स्पष्ट होता है। पत्र में विधायक डॉ दास ने जिक्र किया है कि निजी स्कूल संचालकों,अध्ययनरत विद्यार्थियों के साथ साथ अभिभावक भी कोविड 19 का दुष्प्रभाव झेल रहे हैं। आर्थिक तंगी के दौर से सभी गुजर रहे हैं। जबकि इस कठिन समय में भी निजी स्कूलों की ओर से शुल्क में किसी तरह की रियायत नहीं दी गई है। जिसके मद्देनजर विधायक ने सीएम से मांग की है कि सरकार निजी स्कूलों को सम्बन्धित पीरियड के लिए पच्चीस प्रतिशत का अनुदान दे और बच्चों की फिश माफ़ कर दिया जाए। सरकार से मसले को लेकर विधायक ने आग्रह किया है कि सरकार बच्चों का शुल्क माफी का इंतजाम करे, लेकिन निजी स्कूलों को उनकी हाल की मुश्किलों से जोड़कर देखा जाए। उन्हें अनुदान देकर शिक्षा के क्षेत्र को और मजबूती से आगे कायम रखने की दिशा में प्रयास हो।
मालूम हो कि विधायक शुरू से ही शिक्षा की तेज रौशनी फैले उसके लिए प्रयासरत रही है। इसी संदर्भ में उनकी यह मांग आईं है, ताकि अभिभावकों में असंतोष जैसी कोई बात नहीं होने पाए तथा बच्चे निर्बाध शिक्षा ग्रहण करते रहें। क्षेत्र में विधायक के इस पहल की काफी चर्चा है। साथ ही सराहा भी जा रहा है। अब विधानसभा क्षेत्र के लोग इस बात की राह देख रहे कि सरकार विपक्षी विधायक की मांग को कितनी गम्भीरता से लेती है और शुल्क से बच्चों और अभिभावकों को कितनी राहत मिल पाती है।
523 total views, 1 views today