अवध किशोर शर्मा/सारण (बिहार)। सारण जिला के हद में सोनपुर के विश्व प्रसिद्ध हरिहर क्षेत्र मेला में देश और दुनिया की रंगबिरंगी मछलियों की दुनिया आबाद है।
पारदर्शी समुद्री गुफाओं में चतुर्दिक तैर रही मछलियों के बीच से होकर गुजरना मेला दर्शकों के मन और मिजाज में रोमांच भर दे रहा है।यह कमाल मेला के हरिहरनाथ द्वार के सामने आर्य समाज मंदिर के पास डिजनीलैंड मेला में स्थापित अंडर वाटर फिश टनल एक्वेरियम में देखने को मिल रहा है।
इसी एक्वेरियम में प्रदर्शित मछलियों में उत्तरप्रदेश की राजकीय मछली नाइफ फिश के नाम से दुनिया में प्रसिद्ध चितला मछली भी है। इसे चाकू मछली के नाम से भी पुकारा जाता है। भारत के अधिकांश नदियों में यह पाई जाती है।
ताजे और मीठे पानी की रंगीन छोटी मछली प्लेटी मध्य अमेरिका, विशेष रुप से मैक्सिको, ग्वाटेमाला और होंडुरस के जलाशयों में पाई जाती है जिसकी मौजूदगी यहां है। चौकोर शरीर, पूंछ यानी पतंग की तरह दिखनेवाली दक्षिण अमेरिका की तेज दांतों वाली मछली पिरान्हा का भी इस मेले में दर्शन हो रहा है।
दक्षिण पूर्व एशिया की कैट फिश दर्शकों के आकर्षण का केंद्र है, क्योंकि बिल्ली की तरह इसकी मूंछें निकली हुई है। मगरमच्छ की तरह जबड़ेवाली अमेरिकी गार मछली, दक्षिण पूर्व एशियाई देशों के मीठे पानी की टिनफोइल मछली का यहां जबरदस्त जलवा है।
मछलियों के इस समुद्री संसार में जाकर आप इन्हें नजदीक से दीदार करना चाहते हैं तो टिकट काउंटर पर सौ रुपए का टिकट कटाकर इस अद्भुत नजारे को अपने कैमरे में कैद कर सकते हैं। सेल्फी ले सकते हैं। विडियोज बना सकते हैं। इसके लिए कोई रोक नहीं है।
भारत और दक्षिण एशिया की मशहूर जेबरा मछली को देखिए इसके शरीर की धारियां जेब्रा की तरह है। दक्षिण अमेरिका की नदियों और सहायक नदियों में पाई जाने वाली पिरान्हा की शाकाहारी चचेरी बहन मानी जानेवाली सिल्वर डॉलर मछली भी अंडर वाटर फिश टनल की शोभा बढ़ा रही है।
इसमें दुनिया भर के समुद्रों, मीठे जलाशयों और नदियों में पाई जाने वाली हजारों रंग बिरंगी और अद्भुत शक्ल और सूरत वाली मछलियों का सजा संसार है। पूरे परिवार के साथ मेला पर्यटक यहां आकर इस अजूबे समुद्री दुनिया का दीदार करते नहीं थकते। निश्चित रुप से एक बार इस समुद्री दुनिया को देखकर संतुष्ट हुआ जा सकता है और आपका सौ रुपया का खर्चा बेजा नहीं जायेगा।
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