गंगोत्री प्रसाद सिंह/हाजीपुर (वैशाली)। वैशाली जिला मुख्यालय हाजीपुर से 20 किमी दूर भगवानपुर प्रखंड के हुसैना राघव गांव और गोरौल प्रखंड के कटरमाला गांव में 7 जनवरी को बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और उप मुख्यमंत्री तेजस्वी यादव के साथ बहु चर्चित समाधान यात्रा के क्रम में पहुँचे।
मुख्यमंत्री के काफिले के साथ अन्य मंत्री और महागठबंधन के नेता और विधायक भी इस यात्रा में उपरोक्त गांव पँहुचे। मुख्य मंत्री की सुरक्षा व्यवस्था चाक चौबंद थी।एसपीजी शुरक्षा कर्मियों के अलावे जिला प्रशाशन द्वारा 208 दण्डाधिकारी, 4000 सुरक्षा कर्मियों के अलावे जिला पदाधिकारी और आरक्षी अधीक्षक के साथ जिला का पूरा प्रशाशनिक अमला मुख्यमंत्री की सुरक्षा में लगे रहे।
ज्ञात हो कि पिछले माह सारण और वैशाली जिले में जहरीली शराब से हुई मौत की घटना की वजह से मुख्यमंत्री की सुरक्षा में बबाल की आशंका से प्रशाशन ने उक्त दोनों गांव को बीते 6 जनवरी को ही पुलिस घेरा में ले लिया था। सुरक्षा कर्मी और महागठबन्धन के नेतायों के अलावे किसी को मुख्यमंत्री के नजदीक नही पहुंचने दिया गया।
मुख्यमंत्री नीतीश के समाधान यात्रा के पहले ही जिला प्रशाशन द्वारा विकास की गंगा बहा दी गई थी। उक्त गांव को जानेवाली सड़को को कालीकरण कर चमका दिया गया था। गांव में स्थित सभी आंगनवाड़ी केंद्र, स्वाथ्य उपकेंद्र, जल मीनार ,कुँआ सभी का रंग रोगन कर चमकाया गया।
रास्ते किनारे के घरों को रंग रोगन कर जल जीवन हरियाली और नशा सेवन विरोधी नारो से पाट दिया गया था। गांव के इस विकास को देख कर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार आत्म मुग्ध हो गए और मीडिया वालों से इस विकास को दिल्ली सरकार को दिखाने को कहा।
समाधान यात्रा को लेकर उक्त दोनों गावों का कायाकल्प तो जरूर हुआ लेकिन जिले के अन्य गांवों में इसी तरह विकास पहुँचे इसका भी समाधान होना चाहिए। इस समाधान यात्रा में उपस्थित महागठबंधन के नेताओं की उपस्थिति से ऐसा लगता है कि नीतीश कुमार 2024 लोकसभा चुनाव की तैयारी का शुभारंभ कर दिया है।
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