गंगोत्री प्रसाद सिंह/हाजीपुर (वैशाली)। वैशाली जिला मुख्यालय हाजीपुर से सटे गंडक नदी के उस पार सारण (छपरा) जिला के हद में विश्व विख्यात हरिहर क्षेत्र सोनपुर के पवित्र भूमि पर स्थित श्रीगजेन्द्र मोक्ष देवस्थानम् नौलखा मन्दिर में 9 सितंबर को भगवान विष्णु को समर्पित अनंत चतुर्दशी का पर्व मनाया गया।
इस अवसर पर मन्दिर के आचार्य रामानुजाचार्य लक्ष्मणजी महाराज ने उपस्थित भक्तों को अनंत चतुर्दशी पर्व का महत्व बताते हुये कहा कि इसे अनंत चौदस के नाम से भी जाना जाता है। उन्होंने कहा कि इस दिन जगत के पालनहार भगवान विष्णु के अनंत रूप की पूजा की जाती है।
इस दिन भगवान श्रीविष्णु के अनन्त रुप का स्मरण करते हुए फल, मिष्ठान आदि सभी प्रसाद का भोग अर्पण कर, अनन्त सूत्र जो चौदह गांठ गठन किया गया होता है, पूजनोपरांत बांह में बांधकर प्रसाद ग्रहण करने से उसे अनंत पुण्य फलों की प्राप्ति होती है।
साथ ही जीवन की सभी बाधाएं दूर होती हैं। पौराणिक कथाओं के अनुसार अनंत चतुर्दशी का व्रत रखने व अनंत सूत्र को बांधने से आर्थिक, शारीरिक व मानसिक परेशानियों से मुक्ति मिलती है।
महाराजजी ने कहा कि श्रीअनन्त चतुर्दशी को भगवान श्रीविष्णु के अनन्त रुप की श्रद्धा से पूजा कर अनन्त सूत्र को पुरुष दाहिने बांह में एवं महिलाओं को बायें बांह में बांधकर प्रसाद ग्रहण करने से मनुष्य इस संसार में सभी प्रकार के सुख भोग को प्राप्त करते हुए मोक्ष को प्राप्त करते हैं। उपस्थित सभी श्रद्धालुजन कथा को सुनते हुए श्रद्धा से पूजा कर श्रीहरि विष्णु का प्रसाद ग्रहण किया।
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