अवध किशोर शर्मा/सारण (बिहार)। सारण जिला के हद में सोनपुर रेलवे परिसर में स्थित स्नातक स्तरीय उच्चतर शिक्षण संस्थान पूर्वोत्तर रेलवे महाविद्यालय को रेल प्रशासन द्वारा 6 मई को पूर्णतः सील कर दिया गया।
बताया जाता है कि सोनपुर रेल प्रशासन ने रेल क्षेत्र के विकास को लेकर ऐसा निर्णय लिया है। सोनपुर रेल मंडल प्रशासन ने स्थानीय प्रशासन व पुलिस के सहयोग से उपरोक्त कार्य को अंजाम दिया है।
जानकारी के अनुसार महाविद्यालय के दोनों प्रमुख गेटों और कैंटीन को सील किया गया है। इससे पहले ही महाविद्यालय के कई कमरों को सील किया जा चुका था।मुख्य द्वार के सील होने के साथ ही अब पूरी तरह से छात्र -छात्राओं एवं कॉलेज के शिक्षक एवं शिक्षकेत्तर कर्मियों का महाविद्यालय में प्रवेश पर रोक लग गया है।
बताया जाता है कि इस कॉलेज से करीब तीन हजार से अधिक छात्र-छात्राओ का भविष्य जुड़ा हुआ है, जिनका भविष्य अब मझधार में फंस गया है। स्थानीय दंडाधिकारी रामजी राम के नेतृत्व में सोनपुर थानाध्यक्ष राजनंदन, पोस्ट इंचार्ज सुमन कुमारी, वरिष्ठ सेक्शन रेलवे इंजीनियर एल सी वर्मा सहित रेलवे सुरक्षा बल और बिहार पुलिस के सैकड़ों महिला-पुरुष बल के जवानों की उपस्थिति में गेटों को सील किया गया। कार्रवाई के समय जानकी नवमी की छुट्टी की वजह से कॉलेज बंद था।
बताते चलें कि वर्ष 1978 में जनता पार्टी सरकार के तत्कालीन रेल मंत्री मधु दंडवते ने पूर्वोत्तर रेलवे महाविद्यालय सोनपुर का उद्घाटन किया था। रेलवे ने बहुत पहले रेलवे कॉलेज को स्थानांतरित करने का प्रस्ताव कॉलेज प्रशासन को दिया था और सोनपुर स्टेशन गेट के पश्चिम सड़क किनारे भूमि भी आवंटित किया गया था। कॉलेज के कुछ विभाग का कार्य वहां भी होने लगा। बाद में वह बंद हो गया।
यह कॉलेज इस क्षेत्र का इकलौता स्नातक स्तरीय उच्च शिक्षण संस्थान है जो हजारों छात्र-छात्राओं के भविष्य को बनाने का काम किया करता रहा है। अब उसका खुद का भविष्य अनिश्चित हो गया है। हालांकि पूर्व में सील करने आयी रेल प्रशासन ने परीक्षा को ध्यान में रखते हुए छात्र-छात्राओं के साथ हमदर्दी दिखाते हुए कुछ कमरों को छोड़ दिया था। सील करने के दौरान बड़ी संख्या में स्थानीय पुलिस प्रशासन के साथ रेलवे के पदाधिकारीगण मौजूद थे।
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