आदिवासी सेंगेल ने मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन एसी को सौंपा

फिरोज आलम/जैनामोड़ (बोकारो)। आदिवासी सेंगेल अभियान के तहत बोकारो जिलाध्यक्ष के ‌नेतृत्व में बीते 16 मई को बोकारो जिला उपायुक्त के मार्फत झारखंड के मुख्यमंत्री को ज्ञापन भेजा है।
जानकारी के अनुसार आदिवासी सेंगेल अभियान जिलाध्यक्ष सुखदेव मुर्मू के नेतृत्व में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से 5 सवाल का जबाव दो, नहीं तो गद्दी छोड़ो का ज्ञापन पत्र बोकारो जिला उपायुक्त के अनुपस्थिति में सहायक आयुक्त (एसी) सादात अनवर को सुपुर्द किया गया।

मान्य मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन जवाब दो, नहीं तो गद्दी छोड़ो-
सौंपे गये ज्ञापन में कहा गया है कि आपने पंडित रघुनाथ मुर्मू के जन्म जयंती पर 5 मई को उनके डांडबुस गांव ओडिशा जाकर उनके सपनों को अपमनित ही किया है, क्योंकि आपने झारखंड में संताली भाषा को ओलचिकी लिपि के साथ अभी तक राजभाषा का दर्जा नहीं दिया है।

उल्टा आप के अनेक ईसाई एमएलए एवं एमपी इसका विरोध भी करते हैं, क्यों ? आपने मांरग बुरू (पारसनाथ पहाड़ गिरिडीह, झारखंड) को भारत सरकार को 5 जनवरी को पत्र लिखकर जैनों के हाथों में बेचने का काम किया है, क्यों ? आपने सरना धर्म कोड की जगह सरना आदिवासी धर्म कोड 11 नवंबर 2020 को पारित कर बिना राज्यपाल

के हस्ताक्षर के दिल्ली भेजा है, क्यों ? आपने कुर्मी/महतो समुदाय को आदिवासी बनाने का 8 फ़रवरी 2018 को अनुशंसा हस्ताक्षर कर असली आदिवासियों के गले में फांसी का फंदा लटकाने का काम किया है, क्यों ?

तथा आदिवासी स्वशासन वयवस्था में जनतांत्रिक और संवैधानिक सुधार लाने के बदले वंशानुगत नियुक्त माझी- परगना, मानकी- मुंडा आदि को प्रलोभन देकर वोट बैंक की सुविधा के लिये उनको भटकाने का काम करते हैं, क्यों ? शामिल है।

जिलाध्यक्ष द्वारा कहा गया कि आदिवासी सेंगेल अभियान आगामी 30 जून को कोलकाता बिग्रेड परेड ग्राउंड में आहूत विश्व सरना धर्म कोड जनसभा में भी लाखों आदिवासियों के बीच सीएम के खिलाफ उपरोक्त 5 सवालों को उठाने के लिये बाध्य है। उन्होंने कहा कि उपरोक्त 5 सवाल भारत के आदिवासियों के अस्तित्व, पहचान, हिस्सेदारी के साथ जुड़ा हुआ है।

ज्ञापन पत्र सौंपने वाले सेंगेल के नेतागण में बोकारो जोनल संयोजक जयराम सोरेन, बोकारो जिला संयोजक भीम मुर्मू, बोकारो जिला अध्यक्ष सेंगेल छात्र मोर्चा कोमल किस्कू, सेंगेल‌ महिला मोर्चा चास प्रखंड महासचिव सविता टुडू, सेंगेल परगना चास प्रखंड जलेश्वर किस्कू, महेश सोरेन आदि शामिल थे।

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