ममता सिन्हा/तेनुघाट (बोकारो)। झालसा रांची के निर्देशानुसार एवं प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश सह अध्यक्ष जिला विधिक सेवा प्राधिकार बोकारो रंजना अस्थाना के मार्गदर्शन में बीते 17 सितंबर को तेनुघाट जेल में बंदियों के बीच जेल अदालत सह विधिक जागरूकता शिविर का आयोजन किया गया।
इस जेल अदालत सह विधिक जागरूकता कार्यक्रम के लिए एक बेंच का गठन किया गया था, जिसमें प्रथम श्रेणी न्यायिक दंडाधिकारी साक्षी श्रीवास्तव और पैनल अधिवक्ता पुनीत लाल प्रजापति उपस्थित थे।
शिविर में उपस्थित जेल बंदियों को संबोधित करते हुए प्रथम श्रेणी न्यायिक दंडाधिकारी श्रीवास्तव ने बंदियों को विश्वकर्मा पूजा की बधाई दी। बंदियों को प्रदान किए जाने वाले विभिन्न विधिक सहायता के बारे में बताते हुए कहा गया कि नालसा नई दिल्ली एवं झालसा रांची के द्वारा बंदियों के लिए विभिन्न प्रकार के कार्यक्रम समय-समय पर चलाए जा रहे हैं।
इसके माध्यम से उन बंदियों को उचित विधिक सहायता प्रदान की जाती है। इसी के तहत प्रत्येक महीने जेल अदालत का आयोजन किया जाता है। श्रीवास्तव ने बंदियों से जेल में मिलने वाली सुविधाओं के बारे में जानकारी दी।
उन्होंने बताया कि वैसे बंदी जो स्वयं के खर्च पर अपना अधिवक्ता रख पाने में असमर्थ हैं, उनके लिए सर्वोच्च न्यायालय के निर्देश पर लीगल एड डिफेंस काउंसिल के तहत अधिवक्ताओं की प्रतिनियुक्ति की गई है, जो उन बंदियों के केस में संबंधित न्यायालय में निरंतर पैरवी करते हैं।
बंदियों को पैनल अधिवक्ता पुनीत लाल प्रजापति ने भी कानूनी जानकारी दी। उसके बाद प्रथम श्रेणी न्यायिक दंडाधिकारी श्रीवास्तव ने महिला वार्ड में जाकर महिला बंदी से भी मुलाकात कर उनका हालचाल से अवगत हुई। जेल में रसोई घर का भी उन्होंने निरीक्षण किया, जहां सभी कुछ सही पाया।
शिविर में स्वागत भाषण एव मंच संचालन अधिवक्ता सुभाष कटरियार और धन्यवाद ज्ञापन जेलर नीरज कुमार ने किया। मौके पर विजय कुमार एवं जेल कर्मियों की भूमिका सराहनीय रही। उक्त जानकारी अनुमंडल विधिक सेवा प्राधिकार समिति के सचिव सह एसडीजेएम दीपक कुमार साहु ने दी।
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