गंगोत्री प्रसाद सिंह/हाजीपुर (वैशाली)। वैशाली जिला सहित पुरे बिहार राज्य में लोक आस्था का चार दिवसीय महापर्व छठ नहाय खाये के साथ 28 अक्टूबर से शुरू हो गया। इस पर्व के महाप्रसाद केला के लिये वैशाली जिला का हाजीपुर विश्व प्रसिद्ध है। आश्चर्य यह कि, केले के लिए मशहूर यह शहर का केला का बाजार दक्षिण भारत और असम से आये केले से गुलजार है।
ज्ञात हो कि, हाजीपुर से केला उत्तर बिहार के सभी जिलों और नेपाल तक जाता है, लेकिन स्थानीय स्तर पर वैशाली जिले में केले का कम उत्पादन होने की वजह से यहां के व्यापारी बीते कई वर्षों से दक्षिण भारत से केला मंगाने लगे हैं।
इस वर्ष हाजीपुर बाजार समिति में अबतक 200 ट्रक केला आ चुका है। जहां से इन्हें बिक्री के लिये अलग अलग स्थानों पर भेजा जा रहा है। इस वर्ष बाहर से केला बाजार में आने से हजीपुर के स्थानीय चिनिया केला का भाव कम है।
300 में अच्छे केला के घौद (कंदा) बिक रहे हैं। इसके अलावा हाजीपुर में कद्दू 100 रुपये किलो, साठी सुप 200 रुपये जोड़ा तो बांस की टोकरी 200 से 300 रुपये में बेचा जा रहा है।
पूजा सामग्री के सामानों से हाजीपुर और जिले के सभी प्रखंड क्षेत्रों में दुकानें सज गई है। हाजीपुर शहर के रहिवासी छठ व्रत करने नारायणी नदी के पुल घाट से कौनहारा घाट तक जाते हैं।
इस बार जिला प्रशाशन, नगर परिषद के साथ ही हजीपुर के सामाजिक कार्यकर्ताओं द्वारा नदी घाट की विशेष सफाई के साथ रौशनी की व्यवस्था की गई है। बताया जाता है कि छठ पर्व के दिन गंगा स्नान के समय प्रशासन की ओर से सभी घाट पर एनडीआरएफ की टीम मौजूद रहेगी।
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