प्रहरी संवाददाता/कसमार (बोकारो)। झारखंड राज्य (Jharkhand State) के ज्वलंत मुद्दों को लेकर आजसू पार्टी प्रतिनिधिमंडल ने 25 फरवरी को राज्य के राज्यपाल से मुलाकात कर 8 सूत्री मांग पत्र सौंपा। प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व गोमियां विधायक डॉ लंबोदर महतो कर रहे था।
आजसू प्रतिनिधिमंडल द्वारा सौंपे गए मांग पत्र में कहा गया है कि सरकार (Government) राज्य की जनता को उसका हक एवं अधिकार दिलाने हेतू 1932 का खतियान या अंतिम सर्वे के आधार पर नियुक्ति से पूर्व स्थानीय नीति एवं नियोजन नीति लागू करे। सरकार राज्य पिछड़ा वर्ग आयोग की अनुशंसा के आलोक में पिछड़ी जातियों को आरक्षण देना सुनिश्चित करे।
राज्य सरकार अपने व्यय पर जातीय जनगणना करना सुनिश्चित करे। सर्वोच्च न्यायालय के निर्णय के आलोक में पंचायत चुनाव कराने से पूर्व राज्य की पिछड़ी जातियों को पंचायत चुनाव में आरक्षण सुनिश्चित किया जाए। राज्य में सरना धर्म कोड तथा कुड़माली भाषा कोड आगामी जनगणना के प्रपत्र में शामिल करायी जाए।
पत्र के अनुसार 23 अप्रैल 2004 को हुई मंत्रि मंत्री परिषद की बैठक के प्रस्ताव संख्या-1 में लिए गए निर्णय का अक्षरशः अनुपालन कराते हुए राज्य की कुड़मी/कुरमी, घटवार/घटवाल एवं तेली(कोल्ह) को अनुसूचित जनजाति में शामिल करने, सरकार झारखंड आंदोलनकारियों को उनकी पहचान, हक एवं अधिकार तथा मान-सम्मान देना सुनिश्चित करे।
सरकार भाषाई अतिक्रमण विवाद को समाप्त कर राज्य की मात्र नौ जनजातीय एवं क्षेत्रीय भाषाओं को संबंधित जिले की क्षेत्रीय एवं जनजातीय भाषाओं की सूची में शामिल करे। प्रतिनिधि मंडल मे गोमियां विधायक डॉ लंबोदर महतो, पूर्व विधायक रामचन्द्र सहिस, पूर्व विधायक उमाकांत रजक, पूर्व विधायक शिव पूजन मेहता एवं केंद्रीय प्रवक्ता डॉ देव शरण भगत आदि शामिल थे।
189 total views, 2 views today