एन.के.सिंह/फुसरो (बोकारो)। बोकारो जिला (Bokaro district) के हद में सीसीएल बीएंडके प्रक्षेत्र के करगली ऑफिसर क्लब में 14 जुलाई को विस्थापित संघर्ष समन्वय समिति बेरमो कोयलांचल और प्रबंधन के बीच कई मांगो को लेकर बैठक का आयोजन किया गया।
बैठक की अध्यक्षता महाप्रबंधक एम कोटेश्वर राव ने किया। बैठक में रैयत विस्थापितों के जमीन के बदले लंबित नौकरी, मुआवजा, पुर्नवास, रोजगार उपलब्ध करवाने आदि मांगों पर चर्चा किया गया।
इस अवसर पर विस्थापित संघर्ष समन्वय समिति के अध्यक्ष लखनलाल महतो ने कहा कि खदान में असुरक्षित ढंग से कोयला उत्पादन किया जा रहा है। खदान में आये दिन होने वाले हैबी ब्लास्टिंग से विस्थापित डर के साये में जीने को विवश है।
गांव से महज 50 मिटर की दूरी पर अव्यवस्थित ढंग से खदान चलना काफी चिंताजनक है। उन्होंने कहा कि क्षेत्र के कारो और पूरनाटांड में रह रहे विस्थापितों के घरों में ब्लास्टिंग का पत्थर उड़ने से जानमाल का खतरा उत्पन्न हो गया है। इसलिए प्रबंधन अविलंब विस्थापित परिवारों को अधिकार देते हुए कोई सुरक्षित जगह पर स्थाई तौर पर पुनर्वासित करें। पैकेज डील के तहत विस्थापितो को नौकरी दी जाए और कोलियरी में रोजगार उपलब्ध कराई जाए।
समिति के महासचिव काशीनाथ केवट ने कहा कि प्रबंधन विस्थापितों को समुचित पुनर्वासित के साथ वैकल्पिक रोजगार की व्यवस्था करें। उन्होने कहा कि सीसीएल प्रबंधन को विस्थापितों ने अपने पुरखों की बेशकीमती जमीन दिया है। इसलिए प्रबंधन उनके साथ सम्मानजनक व्यवहार करते हुए उनका अधिकार उपलब्ध करवाये।
विस्थापित नेता काशीनाथ सिंह औऱ सूरज महतो ने कहा कि प्रबंधन गैर कानूनी तरीके से उत्खनन कार्य कर रही है। ग्रामीणों के द्वारा संरक्षित वन संपदा और पहाड़ को काटा जा रहा है। विस्थापितों के सत्यापित जमीन पर डोजरिंग कराके मार्ग बनाने का कार्य कर रही है। मौके पर बीएंडके जीएम एमके राव ने कहा कि विस्थापितों के साथ अन्याय नहीं होगा। विस्थापित भी सीसीएल परिवार के सदस्य हैं।
सभी को सीसीएल की आरआर पॉलिसी के तहत अधिकार दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि माइंस के विस्तार में आ रही समस्याओं को दूर करने में विस्थापित परिवार के लोग सीसीएल का साथ दें। कोयला उत्पादन पर ही इस क्षेत्र का भविष्य निर्भर है। उन्होंने आश्वस्त करते हुए कहा कि कारो और पूरनाटांड बस्ती के विस्थापितों को वाजिब अधिकार उपलब्ध कराते हुए आवश्यक संसाधनों के साथ अंयत्र बसाया जाएगा।
विस्थापित आपसी सहमति बनाकर प्रबंधन को सूचना दें। विस्थापितों को नौकरी, पुनर्वास और मुआवजा दिया जाएगा। उन्होंने जोर देते हुए कहा कि विस्थापित कंपनी के अंग है। उनके दी हुई जमीन पर ही कोयला उत्पादन कर कंपनी करोड़ो- करोड़ का मुनाफा अर्जित कर रहा है।
उन्होंने कोयला उत्पादन और खदान विस्तार में सहयोग करने की अपील किया। बैठक में उपरोक्त के अलावा एसओ पीएंडपी एसपी साड़ंगी, पीओ के डी प्रसाद, भू-राजस्व अधिकारी बी के ठाकुर सहित विस्थापितों में पूर्व मुखिया दिलीप महतो, पंचानन मंडल, धनेश्वर महतो, महेंद्र चौधरी, मनोज मंडल, जिबू विश्कर्मा, मदन महतो, संजय भोगता, लाल मोहन महतो, सुरेश शर्मा, खेमलाल महतो, हरखलाल महतो आदि उपस्थित थे।
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