झारखंड में पहली बार हत्याकांड में नाबालिग को आजीवन कारावास

धनबाद चिल्ड्रन कोर्ट ने सुनाया फैसला

प्रहरी संवाददाता/धनबाद (झारखंड)। झारखंड (Jharkhand) में एक न्यायालय ने हत्याकांड के नाबालिग मुख्य आरोपी को दोषी करा दिया है। अदालत ने उसे आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। दोषी 17 साल का बताया जा रहा है।

इस संबंध में संबंधित न्यायालय के अधिवक्ताओं का कहना है कि झारखंड में हत्याकांड में किसी नाबालिग को आजीवन कारावास की सजा सुनाए जाने का यह पहला मामला है। धनबाद चिल्ड्रन कोर्ट में एडीजे फर्स्ट ने सौरभ हत्याकांड में 17 साल के नाबालिग को यह सजा सुनाई है।

जानकारी के अनुसार हत्याकांड में बेटे को खो देने वाले परिजनों ने इस फैसले पर खुशी जताई है। ज्ञात हो कि धनबाद जिला (Dhanbad district) के हद में झरिया के सब्जी पट्टी इलाके में 29 जुलाई 2017 को सौरभ (17 साल) के पिता की ओर से झरिया थाने में नाबालिग एवं उसके अन्य साथियों को आरोपी बनाते हुए हत्या की प्राथमिकी दर्ज कराई गयी थी।

झरिया सब्जी पट्टी के रहनेवाले रामचंद्र साव ने झरिया थाना (Jhariya police station) में दर्ज कराई प्राथमिकी में कहा था कि वह अपने बड़े बेटे श्याम सागर और छोटे बेटे सौरभ के साथ बाजार से वापस घर लौट रहे थे। राधा कृष्णा रोड पर विकास साव, संटी कुमार रावत, सोनू व नाबालिग पहले से घात लगाए बैठे थे।

सभी ने उसका पीछा किया और सुनसान स्थान पर उसके छोटे बेटे सौरभ पर चाकू से हमला कर दिया। इस हमले में सौरभ बुरी तरह जख्मी हो गया था। इलाज के दौरान सौरभ की मौत हो गई थी। घटना को लेकर 25 अक्टूबर 2017 को पुलिस ने अदालत में आरोप पत्र गठित किया था। अभियोजन पक्ष की ओर से कुल 9 गवाह अदालत में पेश किए गए थे।

अधिवक्ता जावेद ने बताया कि मृतक की बहन के साथ नाबालिक अपने दोस्तों के साथ अश्लील हरकत करता था, जिसका सौरभ विरोध किया करता था। सौरव के इसी विरोध पर नाबालिग ने उसकी हत्या की थी। इस मामले में अदालत ने दोषी पर दस हजार रुपये जुर्माना भी लगाया।

अधिवक्ता जावेद ने बताया कि दिल्ली के निर्भया कांड के बाद जुवेनाइल एक्ट में संशोधन किया गया था। इसके बाद उस कानून के मद्देनजर झारखंड में पहली बार किसी न्यायालय ने नाबालिग को उम्रकैद की सजा सुनाई है।

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