हरमू में कान्यकुब्ज स्वर्णकार पंचायत की आपातकालीन बैठक

एस. पी. सक्सेना/रांची (झारखंड)। कान्यकुब्ज स्वर्णकार पंचायत रांची कार्यसमिति की एक आपातकालीन बैठक बीते 20 फरवरी को देर रात तक चली। बैठक में कई महत्वपूर्ण विषयों पर गहनता से विचार विमर्श किया गया।

कान्यकुब्ज स्वर्णकार पंचायत रांची कार्यसमिति की आपातकालीन बैठक हरमू के सहजानंद चौक स्थित स्वागतम मैरिज हॉल में आयोजित किया गया। बैठक में मुख्य रूप से एकीसो महादेव धाम चुटिया के मंदिर निर्माण संबंधित चर्चा की गई।

बैठक में मंदिर का प्रस्तावित नक्शा सहीत निर्माण से जुड़े सभी पहलुओं पर गम्भीरता पूर्वक विचार किया गया। साथ ही नक़्शे में कुछ सुधार के साथ यथाशिघ्र मंदिर निर्माण प्रारम्भ करने का निर्णय सर्वसम्मति से पारित किया गया।

बैठक में मंदिर निर्माण कार्य को पारदर्शी तरीके से अर्थ संग्रह हेतु अलग अलग कमेटियों का निर्माण करने का निर्णय सर्वसम्मति से पारित किया गया। यह भी निर्णय पारित किया गया कि दान दाताओं से नगद राशि के बजाय निर्माण सामग्री देने का अनुरोध किया जाएगा।

बैठक में निर्णय लिया गया कि अधिकृत कमेटी दान की राशि या निर्माण सामग्री प्राप्त करने के साथ ही तुरन्त दान दाताओं को कमेटी के अधिकृत सदस्य द्वारा पारदर्षिता के साथ रशीद प्रदान कर दी जाएगी। यह भी निर्णय पारित किया गया कि निर्माण सम्बन्धी सभी निर्णय कान्यकुब्ज स्वर्णकार पंचायत रांची कमिटी के द्वारा लिए जायगें।

इसे लेकर बैठक में 22 फरवरी के बैठक को अवैध घोषित करते हुए यह कहा गया कि इस तरह की बैठक को समाज को तोड़ने की साजिश माना जाएगा, इसलिए सदस्यों को ताकित किया गया कि इस तरह के आयोजनों से वे दूर रहे।

बैठक में आगामी 5 मार्च को कान्यकुब्ज स्वर्णकार पंचायत द्वारा होली मिलन समारोह मनाने का निर्णय लिया गया। जिसमें उपाध्यक्ष उमेश कुमार एवं महासचिव सह प्रवक्ता संतोष कुमार सोनी को मांडर कांड के उद्द्भेदन हेतु किए गए सराहनीय कार्य के लिए सम्मानित करने का भी निर्णय लिया गया।

बैठक में मंदिर के भूमि पूजन के दिन लिए गए तस्वीरों के साथ सोने, चांदी व्यवसाय समिति के पूर्व अध्यक्ष रवि कुमार पिंकू और महासचिव संजय कुमार सोनी द्वारा पंचायत के महासचिव मुकेश वर्मा की तस्वीर को विद्वेषपूर्वक तथा अपमानजनक तरीके से धुंधला कर सोसल मीडिया के फ़ेसबुक तथा वॉटऑप में डाला गया, जिससे पंचायत के महासचिव अपमानित महसूस कर रहे हैं।

जिसके सन्दर्भ में पंचायत के अध्यक्ष को प्राप्त ज्ञापन के रूप में शिकायत पत्र पर भी गम्भीरता से चर्चा के उपरांत प्रथम दृष्टया इसे एक सोंची समझी मानहानि की कार्रवाई माना गया। बावजूद इसके इस मामले की पारदर्शी तरीके से जांच कराने का निर्णय बैठक में पारित किया गया।

इस मामले की जांच के लिए पंचायत के अध्यक्ष ने तुरंत कार्रवाई करते हुए तीन सदस्यीय जांच कमिटी का गठन करते हुए जल्द से जल्द जांच उपरांत रिपोर्ट पंचायत को सुपुर्द करने का निर्देश दिया गया।

जांच कमेटी में पंचायत के उपाध्यक्ष उमेश वर्मा तथा संजय कुमार बर्मन के अलावे पंचायत के महासचिव सह प्रवक्ता संतोष कुमार सोनी को मनोनीत किया गया, जो यह भी जांच करेंगे कि इस घटना में क्या दो लोगों के अलावे अन्य किसी का भी हाथ तो नही?

साथ ही साथ पंचायत के अध्यक्ष रविंद्र लाल ने यह निर्देश जारी किया कि जब तक जांच पूरी नहीं हो जाती है तब तक रवि कुमार पिंकू और संजय प्रसाद सोनी को मंदिर निर्माण कार्य में सम्मिलित होने एवं पंचायत के सभी गतिविधियों से वंचित अर्थात् निष्कासित कर दिया गया है।

बैठक में पंचायत के अध्यक्ष ने सख्त निर्देश दिया कि पंचायत के अध्यक्ष के आदेश के बाद ही कोई बैठक रखी जाएगी। यदि इसके अलावा कोई बैठक बुलाया जाता है तो उसे अवैध माना जाएगा। उन्हें भी मंदिर निर्माण कार्य एवं पंचायत की सभी गतिविधियों से वंचित किया जा सकता है।

बैठक की अध्यक्षता पंचायत अध्यक्ष रविंद्र लाल ने करते हुए विश्वास व्यक्त किया कि पंचायत तथा समाज के प्रबुद्ध जनों का वे सहयोग करेंगे। उन्होंने अपील किया कि पंचायत के अंदर अनुशासन लाने तथा मंदिर निर्माण कार्य मे सहयोग करें। बैठक का संचालन महामंत्री सह प्रवक्ता संतोष कुमार सोनी ने किया। इस बैठक में पंचायत के लगभग 50 लोग उपस्थित हुए।

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