शोषित – वंचितों की आवाज थे डॉ वी. वी. गिरि-संत विष्णुदास उदासीन

प्रहरी संवाददाता/सारण (बिहार)। सारण जिला के हद में राम सुंदर दास उच्च विद्यालय खरिका परिसर में डॉ वी वी गिरि की जयंती के उपलक्ष्य में आयोजित नि:शुल्क स्वास्थ्य जांच एवं दवा वितरण शिविर का उद्घाटन 11 अगस्त को किया गया।

उद्घाटन बिहार प्रदेश उदासीन महामंडल के अध्यक्ष व् लोकसेवा आश्रम के व्यवस्थापक संत बाबा विष्णु दास उदासीन उर्फ मौनी बाबा ने विधिवत दीप प्रज्वलित कर किया।
इस अवसर पर मौनी बाबा ने कहा कि डॉ गिरि शोषित -वंचितों की आवाज थे। उन्होंने आजीवन मजदूर हित की बात की। उनकी लिखी किताबें आज भी उच्च शिक्षा प्राप्त करने वाले छात्र पढ़ते हैं।

मौके पर गोस्वामी जागरण मंच के राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ पी.एस. दयाल यति ने कहा कि मंच डॉ गिरि के विचारों को आगे बढ़ाते हुए शोषित-वंचितों की सेवा में लगे रहते हैं। उसी श्रृंखला की यह एक कड़ी है आज का शिविर। उन्होंने कहा कि डॉ गिरि के विचारों का अनुसरण करना एवं समाज में करवाना मंच का मुख्य उद्देश्य है।

साथ ही गोस्वामी समाज के हित में सभी समाज को एकजुट करने का प्रयास करना है, ताकि गोस्वामी समाज को अपना हक – हुकूक प्राप्त हो सके। जानकारी के अनुसार एमएसजी इंस्टीट्यूट ऑफ सोशल स्टडीज, विष्णु होमियो एंड हर्बल क्लिनिक एवं गोस्वामी जागरण मंच के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित उक्त शिविर की शुरुआत दीप प्रज्ज्वलित कर किया गया। वहीं, अतिथियों का स्वागत शशि कुमार चंद्रवंशी तथा संचालन प्रसिद्ध शिक्षाविद रवि रंजन ने किया।

इस अवसर पर शिविर में मुख्य चिकित्सक डॉ महात्मा कुमार सिंह के नेतृत्व में लगभग आधा दर्जन होमियोपैथिक चिकित्सकों ने अपनी सेवा दी। जिसमें सैकड़ों मरीजों का नि:शुल्क जांच एवं दवा वितरण किया गया। शिविर के मुख्य चिकित्सक डॉ एम.के. सिंह ने कहा कि हम वैसे मरीजों के लिए सदा सहज उपलब्ध रहते हैं, जो अपना इलाज करवाने में सक्षम नहीं हैं।

डॉ पंकज प्रियम ने मरीजों की जांच करने के अनुभव को सबके बीच रखा और कहा कि अभी भी देश में बहुत कुछ करना बाकी है। उक्त शिविर में वैसे जरूरतमंदो की सेवा हो रही है जो अपना इलाज नहीं करवा सकते हैं। डॉ अरुण कुमार गिरि ने कहा कि एक चिकित्सक सच्चा सेवक होता है। प्रत्येक चिकित्सक को अपने पेशागत जीवन के सप्ताह में एक दिन नि:शुल्क सेवा देना चाहिए।

शिविर के अध्यक्ष डॉ दुखहरण प्रसाद ने अपने अध्यक्षीय भाषण में कहा कि नर सेवा ही नारायण सेवा है। मंच ने जो काम शुरू किए हैं वह अब लगातार होता रहेगा। साथ हीं शिविर की श्रृंखला बढ़ती रहेगी। कहा कि आनेवाले समय में होमियोपैथिक चिकित्सा पद्धति के अलावे अन्य पद्धतियों से भी इलाज किया जाएगा।

धन्यवाद ज्ञापन के दौरान स्थानीय व्यवस्थापक 91 वर्षीय डॉ पी.एल.सिंह ने कहा कि हमारे क्षेत्र में ऐसे काम होते रहे, इसके लिए हम सभी सदा तत्पर रहते हैं। साथ हीं यथासंभव हर तरह से सहयोग करते हैं।

उनका मानना है कि आज के युग में होमियोपैथ से ही सौ साल तक निरोगी जीवन संभव है। उक्त शिविर को संपन्न बनाने में समाजसेविका रूबी कुमारी, सनोज कुमार, मृदुल चन्द्र, अभय प्रकाश सिंह, ऋतु श्रीज्ञान, गणेश कुमार चौबे की सराहनीय भूमिका रही।

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