झारखंड में इंटरनेट सेवा बंद करना झारखंड सरकार का फैसला बेतुका-निराला

एस. पी. सक्सेना/रांची (झारखंड)। झारखंड में 21 व् 22 सितंबर को इंटरनेट सेवा बंद करना झारखंड सरकार फैसला बेतुका है। क्या एक परीक्षा को संचालित करने के लिए सभी आम जनमानस को इस प्रकार बिना किसी पूर्व तैयारी और नियत समय की सूचना दिए इंटरनेट को एक दिन ठीक पहले आदेश पत्र जारी कर बंद कर देना कहां तक उचित है?

उक्त बाते झारखंड उच्च न्यायालय के अधिवक्ता सह रांची सिटीजन फोरम के अध्यक्ष दीपेश निराला ने एक प्रेस विज्ञप्ति जारी कर कही। निराला ने कहा कि सरकार को कम से कम एक सप्ताह पहले यह फैसला लेना चाहिए था, ताकि रहिवासी अपना वैकल्पिक व्यवस्था कर लिए होते। उन्होंने कहा कि दो दिनों तक इंटरनेट के बिना कितने का व्यापार का घाटा हुआ और कितनो को परेशानी होगी।

इसका अंदाजा सरकार को पहले लगाना चाहिए था। कहा कि टैक्सी बुक करने से लेकर हवाई जहाज यात्रा के लिए बोर्डिंग पास का प्रिंट निकालने तक और बैंकिंग इत्यादि कई रोजमर्रा की जरूरतों से भी आम व् खास महरूम हो गए।

निराला ने कहा कि इस दौरान जिन्हें इमरजेंसी होगा, उनका क्या हाल हुआ होगा? अब ईश्वर ही मालिक है। उन्होंने कहा कि परीक्षा एजेंसी को परीक्षा कैसे सही तरीके से करवाना है, यह जिम्मेदारी देखना है।

लेकिन उसके लिए राज्य के सभी नागरिकों को उनके मूलभूत अधिकार से वंचित कर देना यह कहां तक ठीक है? क्योंकि आदेश पत्र 20 सितंबर के डेट में हस्ताक्षरित है और 21 सितंबर, 2024 को इसे लागू किया जा रहा है। मतलब पब्लिक को 24 घंटे का भी पूरा समय नहीं दिया गया। इसका खामियाजा आगे सरकार को भुगतना होगा।

 147 total views,  3 views today

You May Also Like

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *