पीएसयू व् निजी कंपनियों में 75 फीसदी स्थानीय को रोजगार उपलब्ध कराये-अध्यक्ष

एस. पी. सक्सेना/बोकारो। राज्य पिछड़ा वर्ग आयोग की टीम बोकारो जिले के अपने दो दिवसीय दौरे पर 23 जुलाई को भी बोकारो परिसदन सभागार में जिले के पदाधिकारियों के साथ बैठक की। बैठक की अध्यक्षता आयोग के अध्यक्ष व् पूर्व विधायक योगेंद्र प्रसाद ने की।

मौके पर पुलिस अधीक्षक, उप विकास आयुक्त, आयोग के सदस्य केशव महतो, नंद किशोर मेहता, लक्ष्मण यादव, सदस्य सचिव कृष्ण कुमार सिंह समेत जिला स्तरीय पदाधिकारीगण उपस्थित थे।

इस अवसर पर राज्य पिछड़ा वर्ग आयोग अध्यक्ष व् सदस्यों ने क्रमवार आयोग को प्राप्त आवेदनों पर अनुपालन की विभाग वार समीक्षा की। उन्होंने शिक्षा, समाज कल्याण, भू अर्जन, राजस्व, मत्स्य, भवन प्रमंडल, पुलिस विभाग, नियोजनालय से संबंधित मामलों पर विस्तार से समीक्षा की।

बैठक में उपस्थित राज्य पिछड़ा वर्ग आयोग अध्यक्ष ने जिला नियोजन पदाधिकारी से जिले में संचालित पब्लिक सेक्टर यूनिट (पीएसयू) एवं निजी कंपनियों द्वारा झारखंड राज्य के क्षेत्र में स्थानीय उम्मीदवार के लिए नियोजन अधिनियम 2021 एवं नियमावली 2022 के तहत की गई कार्रवाई के संबंध में पूछा।

इस पर उन्होंने कहा कि जिले में लगभग 777 कंपनियों ने पोर्टल पर 34,000 कर्मियों का डाटा उपलब्ध कराया है। इसमें 5 हजार कर्मियों का आवासीय प्रमाण पत्र अपलोड है। वहीं 800 स्थानीय उम्मीदवारों को स्थानीय कंपनियों में रोजगार उपलब्ध कराया गया है।

आयोग के अध्यक्ष ने नाराजगी व्यक्त करते हुए जिला नियोजन पदाधिकारी एवं श्रम अधीक्षक को जिले में संचालित पीएसयू एवं निजी कंपनियों में स्थानीय उम्मीदवारों को 75 फीसदी स्थानीय को रोजगार मुहैया कराने को लेकर एसओपी तैयार करने को कहा। उन्होंने संबंधित कंपनियों को तामिला कर पिछले दो वर्षों में इस दिशा में क्या कार्य किया गया है, कितने स्थानीय को रोजगार दिया गया है।

अगर किसी कंपनी द्वारा इसका अनुपालन नहीं किया गया हो, तो उस पर जुर्माना लगाते हुए आयोग को प्रतिवेदन समर्पित करने का निर्देश दिया। उन्होंने क्षेत्र में ओएनजीसी के तहत काम करने वाले कर्मियों की विवरणी प्रस्तुत करने को कहा।

बैठक के दौरान आयोग ने पिछड़े वर्गों के कल्याणार्थ सरकार द्वारा संचालित विभिन्न योजनाओं का लाभ सभी जरूरतमंदों को मिले, कोई वंचित नहीं रहें को लेकर समीक्षा की। इस दौरान कल्याण विभाग द्वारा संचालित प्री-पोस्ट मैट्रिक छात्रवृति, साइकिल वितरण एवं मुख्यमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम योजनाओं की प्रगति की समीक्षा और कार्यों के निष्पादन में लक्ष्य अनुरूप तेजी लाने का निर्देश दिया।

बोकारो जिला के हद में कसमार प्रखंड में पूर्व के वर्षों में क्रय किए गए साइकिल का वितरण नहीं होने को लेकर जांच टीम गठित कर दोषी एजेंसी एवं अधिकारी को चिन्हित कर आयोग को प्रतिवेदन समर्पित करने का निर्देश दिया गया। साथ ही, कल्याण विभाग के सभी छात्रावासों का जिला कल्याण पदाधिकारी को निरीक्षण करते हुए अद्यतन प्रतिवेदन सौंपने को कहा।

आयोग के अध्यक्ष ने पुलिस विभाग से संबंधित दो मामलों पर पुलिस अधीक्षक एवं मुख्यालय डीएसपी से जानकारी प्राप्त करते हुए सात दिनों में मामले का निष्पादन कर आयोग को प्रतिवेदन समर्पित करने को कहा। आयोग ने मत्स्य विभाग द्वारा संचालितच विभिन्न योजनाओं को लेकर सरकार द्वारा आवंटित राशि, क्रय किए गए बत्तख/मत्स्य बीज लाभुकों के बीच वितरण/खर्च आदि से संबंधित विस्तरित विवरणी आयोग को एक पखवाड़ा में उपलब्ध कराने का निर्देश दिया।

उन्होंने जिला शिक्षा अधीक्षक को कहा कि जिले के निजी विद्यालयों द्वारा मनमानी पर अंकुश लगाने, अभिभावकों को विद्यालय द्वारा निर्धारित दुकान से ही पुस्तक/कापी/स्कूल ड्रेस आदि क्रय करने की शिकायत प्राप्त हो रही है। इस पर चिन्हित विद्यालयों की जांच कर प्रतिवेदन समर्पित करने का निर्देश दिया। वहीं, आरटीई के तहत कितने ओबीसी बच्चों का नामांकन हुआ की जानकारी प्राप्त की।

राज्य पिछड़ा वर्ग आयोग के अध्यक्ष ने उक्त मामलों के अलावा पिछड़े वर्गों के लिए जाति प्रमाण पत्र निर्गत करने हेतु लम्बित आवेदनों, पिछडे वर्गों के छात्र/छात्राओं के छात्रवृति भुगतान, पिछड़े वर्गों के दाखिल-खारिज संबंधित लंबित मामलों, मत्स्य निदेशालय द्वारा चलाई जा रही योजनाओं में पिछड़े वर्गों के लाभान्वितों, आदि।

पिछड़े वर्गों को दिए जा रहें आरक्षण, बोकारो जिला में बाहय स्रोत पर कार्यरत कर्मियों में पिछड़े वर्गों के प्रतिशत, जिला में आपदा (बज्रपात, दुर्घटना, सर्पदंश आदि) से होने वाली मृत्यु में पिछड़े वर्गों के रहिवासियों को दिए गए मुआवजा (पिछड़ी जाति से संबधित) की समीक्षा की। संबंधित पदाधिकारियों को जरूरी दिशा निर्देश दिया।

मौके पर अपर समाहर्ता, सहायक निदेशक सामाजिक सुरक्षा, जिला पंचायती राज पदाधिकारी, जिला भू अर्जन पदाधिकारी, जिला आपदा प्रबंधन पदाधिकारी, सहायक जनसंपर्क पदाधिकारी, कार्यपालक अभियंता भवन प्रमंडल, कार्यपालक अभियंता पथ निर्माण विभाग समेत संबंधित विभागों के वरीय पदाधिकारी आदि उपस्थित थे।

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